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Manju Rani

Inspirational

3  

Manju Rani

Inspirational

हम पर लगा देंगें

हम पर लगा देंगें

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माँ, मैंने अपने पंख नहीं काटे

बस तेरे जख्मों को देख फडफडा रहे

शीघ्र अति शीघ्र इन्हेें जीवन इत्र मेंं नहला

एक ऐसी उड़ान भर लेंगे

जहाँ तेरे गम तेरे से किनारा कर लेंगे।


तेरे वो खून के आँसू जो छुप-छुप बहाये

हम खारे पानी मेंं विसर्जित कर देंगे।

वो बन्द दरवाजों में  रोज़ हिंसा की कहानियाँँ

उन का चौखट मेंं ही दम तोड़ देंगे।


तेरा वो समर्पण यूँ जाया न होने देंगे

तेरी ये सुतायें तेरे घावोंं पर मरहम लगा देंंगे।

अब आंंसूओं की गंगा बहने न देंगे

ये बेश्किमती मोती जो धरा पर पड़े हैं

उन्हें अपने कर्मों से उठा लेंगे।


हम तेरे सपनों को हवा देंगे

स्वतंत्र देश में तुझे भी इन ज़ंजीरों से

स्वतंत्र कर देंगे, तेरे हम पर लगा देंगे।


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