हकीकत
हकीकत
तस्वीर तेरी उतारी है ,
इन आंखों में।
दीवार-ए-दिल पर,
ख्वाबों को सजाया है।
खामोशी में भी तेरी यादों ने,
तन्हाइयों से बचाया है।
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वह मेरे तसव्वुर का चेहरा है।
तस्वीर में उतरकर और अधिक महका है
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तस्वीर ने मुझे मेरी खूबसूरती दिखाई है
मेरी तकदीर की मुझे हकीकत बताई है।