अय्यारी का बादशाह
अय्यारी का बादशाह
अय्यारी शौख नशा राजा हो
या रंक कल्पना लोक की
दुनियां का खतरनाक खेल।।
अय्यारी की दुनिया घिनौनी
बादशाह की चाहत दुनिया
खेल खिलौना।।
जघन्य अपराधों
झूठ फरेब कपोल
कल्पना दुनियां की जननी।।
किस्से और कहानी में
अय्यारी अच्छी लगती
हकीकत की दुनिया में
स्वीकार नही पाप पापनी।।
ना जाने कैसे कैसे अजूबे
बेबुनियाद अध्यात्म भूत
प्रेत आत्मा महात्मा की
शक्ति जाने क्या क्या
नुक्से नायाब।।
परी जन्नत की आती
न्याय की देवी अन्याय से
लड़ती जुल्म दानवता से
मुक्त जहाँ को करती।।
जादू अय्यारी की दुनियां
निहित स्वार्थ अहंकार
नफरत की जमी जंग की
हस्ती।।
जादू की दुनियां का बेताज
बादशाह बैठे बैठे कायनात
मालिक की चाहत मस्ती।।
जाने क्या क्या हथकंडे
दांव पेंच की दुनियां मौत जिन्दगी
भय दहसत अय्यासी की
अय्यारी हस्ती।।
जीवन का कोई मोल नही
छल छद्म प्रपंच नाटक खाबों
दुनियां की कल्पना की कडुई मिर्ची।।
बादशाह की रईयत
ताकत अय्यारी जादू से
डरती क्रूर घमंड से चूर
इंसान जानवर के फर्क
से अंजान क्रूर दमन की
शक्ति।।
भूत प्रेत अतीत अय्यारी के
साधन साध्य वर्तमान की
क्रूर क्रूरता का साम्राज्य।।
मर्यादा परम्परा का नाम
नही जैसे हो अहंकार अहमियत
चाहो की राहों पे चलती।।
