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Manju Rani

Inspirational

3.5  

Manju Rani

Inspirational

औरत

औरत

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अर्धविराम है औरत के बिना ये संसार,

आज औरत की बदौलत है ये संसार,

औरत ही माँ बन बेटे को महान बनाती है,

औरत ही पत्नी बन नर को देवता बनाती है,

औरत ही बहन बन आदमी को इंसान बनाती है,

औरत ही मीरा बन भगवान को नर बनाती है,

अर्धविराम है औरत के बिना ये संसार ।


सदा समय के साथ चली है औरत ,

समय आने पर

जहाँ मरियम जैसी माँ बनी,

वहाँ लक्ष्मीबाई जैसी योद्धा भी बनी,

जहाँ मैडम क्यूरी जैसी वैज्ञानिक बनी,

वहाँ सरोजिनी नायडू जैसी कवित्री भी बनी,

वहीं कल्पना, सिन्धु ,दूती,मैरी देश की शान बनी,

वास्तव में समय की सूचक है औरत,

अर्धविराम है औरत के बिना ये संसार।


हर रूप है औरत में,

ममता का सागर है औरत में,

प्यार का गीत है औरत में ,

बलिदान का बल है औरत में,

भक्ति का रस है औरत में,

जीवन का सार है औरत में,

इस संसार की नींव है औरत में,

अर्धविराम है औरत के बिना ये संसार ।



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