अफसोस
अफसोस


अफ़सोस,
कि मेरी ख़ामोशी को
मेरी नाराज़गी समझ लेते हैं लोग
कुछ मसलों पर,
मैं अपने अल्फाज़ ज़ाया नहीं करती
चुप रहना,
कुछ न कहना...
बस इतना सा
बयान काफी है...!
अफ़सोस,
कि मेरी ख़ामोशी को
मेरी नाराज़गी समझ लेते हैं लोग
कुछ मसलों पर,
मैं अपने अल्फाज़ ज़ाया नहीं करती
चुप रहना,
कुछ न कहना...
बस इतना सा
बयान काफी है...!