आत्महत्या
आत्महत्या
कभी यूं ही किसी दिन खबर आये
कि मैंने आत्महत्या कर ली
मैं लटक गई अपने कमरे के पंखे से
जिसे मैं सालों से देख रही हूं
पडे़ -पडे़ बिस्तर पर
मैं कूद गई हूं यमुना में
जिसे मैं देखती हूं
जब - जब जाती हूं घर
या लेट गई हूं अपने घर के पास वाले
रेलवे स्टेशन की पटरी पर
या मैंने गटक ली है
गेहूं की टंकी से निकालकर
सलफास की गोलियां
तो तुम ये मत सोचना
मैं मरी हूं अपनी मर्जी से
तुम समझ जाना बस
मैं मर रही थी हर रोज थोडा़ -थोडा़
आज बस पूरा मर ली हूं
तुम बताना दुनिया को
एक लड़की थी
जो हंसना चाहती थी
मुस्कराना चाहती थी
जीना चाहती थी
लेकिन तुमने उसे मार दिया
स्त्री मरती नहीं मार दी जाती है।