आ. वि. कामिरे
Abstract
कौन कहता है
जिंदगी जीना बहुत आसान है
जरा जिंदगी का मुखौटा तो उतारो
तुम्हारा जीवन ही
खुद के विचारो का आलेख है...
शिवरात्री के ...
मैं उसके काम ...
मुझे जवाब चाह...
ख्वाईश
ये तेरे भाई क...
बुरा
बारीश की बूंद...
असली पैसा
झूठ
'मै'
बादल गरजे मेरे बिन बरसे मेरे बिन सब जीवन को तरसे! बादल गरजे मेरे बिन बरसे मेरे बिन सब जीवन को तरसे!
पर कितनों को इन पर जान न्योछावर करते देखा है। पर कितनों को इन पर जान न्योछावर करते देखा है।
न मैं ज्ञानी ,न मैं ध्यानी बस हूँ गृहस्थ इंसान पा लेती हूँ उस परम पिता को! न मैं ज्ञानी ,न मैं ध्यानी बस हूँ गृहस्थ इंसान पा लेती हूँ उस परम पिता क...
आज दो घड़ी के लिए खुद से मुलाकात की ! आज दो घड़ी के लिए खुद से मुलाकात की !
कुछ लोग हमारे ऐसे हैं जो हम पर सवाल उठाते हैं। कुछ लोग हमारे ऐसे हैं जो हम पर सवाल उठाते हैं।
आँखें सच से दूर खड़ी है, भ्रम की हेरा-फेरी आँखें सच से दूर खड़ी है, भ्रम की हेरा-फेरी
ये राजदार ही हमारा, हर महफ़िल में कत्ल कर बैठे है, आस्तीन के सांप आजकल हर जगह पर बैठे हैं ये राजदार ही हमारा, हर महफ़िल में कत्ल कर बैठे है, आस्तीन के सांप आजकल हर जगह पर...
पहचानने लगा हूं जीवन का यह अटल सत्य। पहचानने लगा हूं जीवन का यह अटल सत्य।
दूर तलक छाई वीरानगी... उम्मीदों के मंज़र है बिखरे, मंजिलों का ना रहा कोई पता। दूर तलक छाई वीरानगी... उम्मीदों के मंज़र है बिखरे, मंजिलों का ना रहा कोई प...
चाहे उसके पक्ष में कितने ही तर्क क्यूं ना दिए जाए। चाहे उसके पक्ष में कितने ही तर्क क्यूं ना दिए जाए।
हर दिन खिलती सूरज की किरणें हैं पर उससे पहले काली रात है.. हर दिन खिलती सूरज की किरणें हैं पर उससे पहले काली रात है..
दिमाग है सोचता, दिल नहीं, फिर क्यूँ भला दिल बदनाम है? दिमाग है सोचता, दिल नहीं, फिर क्यूँ भला दिल बदनाम है?
राम शिया पर सवाल करने वालों का श्वाश क्यों नहीं हर ले लेती हो??? राम शिया पर सवाल करने वालों का श्वाश क्यों नहीं हर ले लेती हो???
नदी तुम इन्हें इनकी तनख्वाह देना मत भूलना,ये जरूरी हैं तुम्हारे होने के लिए । नदी तुम इन्हें इनकी तनख्वाह देना मत भूलना,ये जरूरी हैं तुम्हारे होने के लिए ।
दिलकश तबस्सुम ने उम्मीदों को जगाया था कभी। दिलकश तबस्सुम ने उम्मीदों को जगाया था कभी।
देखे थे जो ख्वाब देखे थे जो ख्वाब
कभी सोचा क्या? किताबें और बारिश दोनों एक से होते हैं ! कभी सोचा क्या? किताबें और बारिश दोनों एक से होते हैं !
लोग समझते है पृथ्वी सबसे ज़्यादा गोल है पर इंसान के शब्द यहां सबसे ज़्यादा गोल है लोग समझते है पृथ्वी सबसे ज़्यादा गोल है पर इंसान के शब्द यहां सबसे ज़्यादा गोल ...
जब मेरी आत्मा हुई रूबरू मुझसे, कर बैठी एक सवाल! जब मेरी आत्मा हुई रूबरू मुझसे, कर बैठी एक सवाल!
पर मेरे घर में तो रोज है होली, तभी सदा रहती है रंगीन मेरी हथेली। पर मेरे घर में तो रोज है होली, तभी सदा रहती है रंगीन मेरी हथेली।