सवाल
सवाल
सवाल कुछ ऐसे जिनके जवाब नहीं होते
पास उनके अल्फाजों के हिजाब नहीं होते।
वो नंगे बदन एहसासों में आवारा डोलते हैं
शायद उनके जिस्म पे लिबास नहीं होते।
बसर करते हैं वो खामोशियों में अक्सर
पास उनके आवाजों के हिसाब नहीं होते।
पढ़ना चाह कर भी कैसे पढे उनको
अफसोस चेहरे कोई किताब नहीं होते।
पलकों के पीछे कुछ बूँदों में छुपा रखे हैं
शुक्र है रूह अश्कों के तालाब नहीं होते।
कुछ सच जानकर भी सच सुने नहीं जाते।।