STORYMIRROR

Sudhir Srivastava

Horror

3  

Sudhir Srivastava

Horror

साये के आँसू

साये के आँसू

1 min
181


    बिस्तर पर करवट बदलते बदलते राजन उनींदी की वजह से परेशान था।

    ऐसा भी नहीं था कि वह जग रहा था, परंतु उसे ऐसा लग रहा था कि वह जग रहा हो।

     आजकल वह एक ऐसी उलझन में था, जिससे बचने की हर कोशिश नाकाम हो रही थी।

      मगर आज उसे लगा कि एक साया उसे देख रहा है। उसके शरीर में झुरझुरी सी होने लगी।

    अर्धनिद्रा में ही राजन ने साये से पूछा-आप कौन हैं?

     साया चुप रहा ।

     राजन ने फिर पूछा- आप बोलते क्यों नहीं? 

     साया फिर चुपचाप रहा।

     अब राजन को डर की अनुभूति होने लगी।

    लेकिन उसे इस बात पर हैरानी हो रही थी, कि साये की आंखें आंसुओं से भरी थीं। वह चुपचाप राजन को देख रही थीं।

   अब राजन सोचने लगा कि ये सब क्या है? आखिर ये साया कौन है, मुझसे क्या चाहता है और उसके आँसुओं का मतलब क्या है?

    कुछ ही पलों में साये ने आशीर्वाद की मुद्रा में हाथ उठाया और लुप्त हो गया।

    तब तक राजन की नींद खुल गई और वह उठ बैठा। उसका शरीर पसीने से इस कदर भीगा था, जैसे वह अभी अभी नहाकर आया हो।

    मगर उसके पास साये के आँसुओं का कोई उत्तर नहीं था।

  



Rate this content
Log in

Similar hindi story from Horror