मुझे गलत मत समझो
मुझे गलत मत समझो
माना कि हम ने तुमको समय नहीं दे पाए। माना कि हम तुम्हारे साथ बैठ कर तुमसे बात नहीं कर पाए। लेकिन तुम भी मुझे एक तमाचा मार कर हो या समझा कर याद दिला सकती थी ना।क्यों ? तुम ने मुझे क्यों ऐसे अकेले छोड़ कर चली गई? क्यों एक बार भी मेरी हालत को समझ ने की कोशिश नहीं की?बस एक बार बस एक बार तुम मुझसे बात कर लेते तो यह दिन आज कभी नहीं आती।तुमने ही कहा था ना कि हम हमेशा साथ रहेंगे तो फिर आज ऐसा क्या हुआ जो तुम मुझे ऐसे हालात में छोड़ कर चली गई।मेरी आंख में आज आंसू नहीं है पर मेरी दिल जिस तरह तड़प रहा है न वो तुम कभी नहीं समझ सकते हो। प्लीज ! मुझे एक बार समझने की कोशिश करो।मुझे तुम गलत मत समझो।
तापस यह सब कह कर चिल्ला चिल्ला कर रो रहा था।
उसकी हालत गंभीर थे। वो अपनी जान लेने की कोशिश कर रहा था।
एक साल पहले तापस और तनु दोनों ही एक दूसरे से प्यार करते थे। पहले पहले वह दोनों बहुत ही खुस थे।लेकिन जैसे ही वक्त गुजरता गया वैसे ही उन दिनों की प्यार में दरार आने शुरू हुए।बहुत कुछ हो जाने के बाद भी वह दोनों अपने रिश्ते को मजबूत करने की कोशिश कर रहे थे।तापस को पता था की तनु उसके अलावा और भी दो तीन लड़के से संबध रख थी।जब तापस यह बात तनु से पूछने वाला था तो तनु उसको उन सभी लड़के को अपनी दोस्त की परिचय दे दिया। फिर क्या था यह सब कुछ जान कर भी तापस अपने प्यार के खातिर तनु को कुछ नहीं बोला था।
ऐसे ही बहुत दिन बीत गए तनु और तापस उन दिनों की बातें नहीं हो रही थी।एक दिन उन दिनों के बीच बहुत प्यार भरी बातें हुई ।फिर उन दिनों के बीच बातें होनी बंद हो गई।तापस तनु को काम के सिलसिले में समय नहीं दे पा रहा था।कुछ दिन ऐसे ही बीत गया।अचानक एक दिन रात को तापस की फोन पर तनु की मैसेज आई की तुम एक सेलफिश हो।तुम मुझे प्यार नहीं करते और इतने दिन तक तुम मुझसे झूठे प्यार की नाटक कर रहे थे।अब यह मेरी तुमको लास्ट मैसेज है और तुम मुझसे कभी बात करने की कोशिश भी मत करना।यह कह कर तनु ने फोन कट कर दिया।
यह सब कुछ सुन कर जैसे तापस की पैरों तले जमीन ही नहीं है ऐसा लगा रहा था ।वो दो तीन बस यही सोचता रहा कि उसकी गलती क्या है?इतने दिन के रिश्ता पल भर में टूट कर बिखर गया उसे तो कुछ समझ में नहीं आ रहा था । तनु की उस फोन के बाद न जाने कितनी बार तापस ने उससे बात करनी चाही मगर तनु उसका मैसेज देखा भी नहीं न ही उसकी कॉल रिसीव किया।हर वक्त यह सोच सोच कर तापस डिप्रेशन में चला गया।वह डिप्रेशन इतनी ज्यादा बढ़ गया की वह अपनी खुद की जान लेने को भी तैयार हो गया।
तनु जो एक दिन जो तापस को खुद से ज्यादा प्यार करती थी यह कहती थी। वह एक बार भी तापस कैसा है जानने की कोशिश भी नहीं की।तनु अपने ज़िंदगी में बहुत खुस थी । मगर तापस वह तो रोज जी कर हर वक्त मर रहा था।प्यार ऐसा ही होता है।एक अच्छा और सच्चा प्यार मिल जाए तो जिंदगी निखर जाती है। लेकिन तापस और तनु की तरह एक अच्छा और सच्चा प्यार की पहचान न करने की वजह से न जाने कितनों की जिंदगी बिखर जाती है।