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Kumar Sonu

Abstract Drama

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Kumar Sonu

Abstract Drama

ये कौन आता है?

ये कौन आता है?

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खाली कुर्सी देख,

दिल खाली हो जाता है।

जो न देखूं बैठा आपको ,

दिल बैठ जाता है।

खिड़की से चली जो हवा,

अख़बार मेज पर फरफराता है।

ये कौन आता है?

ये कौन आता है?

जो तेज झोंको से,

एक एक पन्ना...

बिखर जाता है।

मेरा अख़बार... 

कौन पढ़ जाता है?

मेरा अख़बार... 

कौन पढ़ जाता है?

इल्म है, जो गुजर गया,

वो कहां लौट कर आता है?

दिमाग को समझा लिया हमने,

दिल को कौन समझा पाता है।



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