STORYMIRROR

यादें ज़िन्दगी

यादें ज़िन्दगी

1 min
7.0K


जो आधा-अधूरा कह दूं तो,

मेरी ख़ामोशी सुन लेना।

वो जो साथ कभी यूँ देखे थे,

उन ख़्वाबों को भी बुन लेना।।


जो साथ चल न पाऊँ तो,

अपनी परछाई समझ लेना।

अश्कों में न हमको बहने देना,

अपनी पलकों में छुपा लेना।।


वो जो वादे थे साथ निभाने के,

गर याद तुम्हें कभी आये तो...


उदास न होना, उफ़ न करना,

एक भुला बिसरा किस्सा समझना और मुस्कुरा देना।।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Romance