तेरे शहर में खामोशी
तेरे शहर में खामोशी
तेरे शहर में मेरा न आना होगा,
कल सूरज उगते ही कहीं और ठिकाना होगा,
तुजसंग गुज़रे हुए पल याद होगा,
दिल से जुड़ी चीज़ को कैसे भूल पाएंगें।
तुम जिंदगी को ठीक उसी तरह जीना,
टू ने जो किया वादा, हमेशा साथ निभाना,
अब तेरे शहर में खामोशी बसर होगी,
तेरे हर दिन हर रात हर बात पर असर करेगी,
तेरे शहर में रुक हे गये हैं,
छोडो अब जिद जाने भी दो..
सवेरा हो रहा है।