सोलमेट
सोलमेट
पता है हम कभी एक हो सकते नहीं
तुम कभी मेरे हो सकते नहीं
पर एक खुशी है मुझे फिर भी
हम साथ रहे तो है कभी
उन्ही यादों के सहारे जीना है हमें
फोन घुमाना अगर याद आ जाऊं तुम्हें
मेरे चेहरे की वो खुशी हो तुम
मेरे धड़कन की हर धड़क हो तुम
मिलना-बिछड़ना तो है दुनिया की रीत
सुनो ना जान तुम ही रहोगे मेरे हरदम प्रीत
कभी दिल के अंदर अंधेरा करना नहीं
कभी तुम मुझे भुलना नहीं
एक तोहफा आज दे दो तुम मुझे
हमारे दिल का यह प्रेम चिराग कभी नहीं बुझे
मांग तो लिए ही थे तुम मुझसे वादा
कोई तुम्हे नहीं करेगा प्यार मुझसे ज्यादा
हां याद भी करते रहना तुम
हम तो है यही कही तुममे ही गुम।

