शतरंज
शतरंज
शतरंज :
है 'शय ' और 'मात' की कहानी
शतरंज की बिसात पुरानी
हैं प्रपंच के सिक्के बिखरे
राजा - रानी के चमचे बहुतेरे
शतरंज की चाल में ठहरे
दिन से रात हो जाती है
लेकिन इनकी चाल न समझ आती है
मोहरों की सियासत तो देखो
एक रियासत की चाल को बदल दे
है वही विजेता जो सब कुछ समझ ले।