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Arvina Ghalot

Abstract

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Arvina Ghalot

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प्रेम में शक्ति है

प्रेम में शक्ति है

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प्रेम में बहुत शक्ति है 

इसे सींचते रहो हर दम


दूरियां मायने नहीं रखती

दिल में जगह बरकरार रहे


आज कठिनाई का दौर है 

गुजर जायेगा ये भी रात की तरह


फिर नई सुबह आयेगी 

प्रकृति मुस्कुरायेगी हर तरफ 


फिजा में पाकीज़गी होगी

फूल महकते होंगे चारों तरफ


आसमान साफ तारों भरा देखा

ऐसा समां पहली बार है दिखा 


धुएं की चादर हटा गई 

प्रदूषण की मात्रा स्वतः घट गई।


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