मेरा देश
मेरा देश
वीर तुम उठो
यूं थको नहीं, रुको नहीं
दुश्मनों का संहार करो
मातृ भूमि की रक्षा में
प्राण न्योछावर कर
अपनी मां का कर्ज
धरती मां का फ़र्ज़
अदा करो
वीर तुम उठो
मुश्किलों के डरो नहीं
तिरंगे की शान के लिए
देश के गद्दारों को बख्शो नहीं
अगर सरहद पे तुम ना होगे तो चैन से ना रह सकेंगे हम
चारों ओर होगी दहशतगर्दी, कहीं भी ना होगा अमन
ए मां तू ऐसे मत रो तेरे लिए जान भी देंगे हम
देश की रक्षा के लिए, वो अपनी मां को छोड़ आया है
नमन करो उसे वो तिरंगे में लिपटा चला आया है।
