मेरा भारत
मेरा भारत
कुदरत ने देखो आज गर्व से कुदरती तिरंगा बनाया है
जिसने हमको बड़ी शान से एहसास गर्व का कराया है
धन्य है माटी धन्य गगन है धन्य है अविरल जलधारा
धन्य है हर भारतवासी जिसको माँ भारती ने अंक मे अपने दिया सहारा
मन वचन और कर्म मे अपनी ऐसी हम हुँकार भरें
सुनकर जिसको दुश्मन की रुह भी चीत्कार करें
विश्व गुरु है मेरा भारत हर जन को ये याद रहे
आन बान और शान से प्यारा जगमग हिंदुस्तान रहे
एक स्वर हो एक हो नारा विजयी विश्व तिरंगा प्यारा
अंतिम श्वांस तक हम सब की बस यही धुन और गान रहे.
