STORYMIRROR

मधुशिल्पी Shilpi Saxena

Abstract Classics Inspirational

3  

मधुशिल्पी Shilpi Saxena

Abstract Classics Inspirational

मिट्टी का इंसान

मिट्टी का इंसान

1 min
314

मिट्टी का इंसान

मिट्टी मे ही मिल जाएगा


मगर नेकियों से वो अपने

नाम का डंका पिटवाएगा


झाँसी की रानी हो चाहें

चाहें धाय हो पन्ना सी


चाहें हो राणा प्रताप सा

चाहें हो वो शिवाजी सा


युगों-युगों तक रहेगा जीवित

हर मानव मे कण-कण सा।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Abstract