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Himani Patel

Drama Others

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Himani Patel

Drama Others

माँ

माँ

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कभी मुँह मोड़ ले,

कभी बात करना छोड़ दे;

चाहे कितना भी ठुकरा ले,

मे तो तेरी आँखों का तारा हूँ


कभी डाँट लगा ले,

कभी हल्का सा मार दे;

चाहे कितना भी ठुकरा ले,

में तो तेरे जिगर का टुकड़ा हूँ


कभी मेरी ग़लती सुधार दे,

कभी मेरी ग़लती छुपा दे;

चाहे कितना भी मुकर ले,

तेरी नाराज़गी समझती हूँ


कभी दुनिया से लड़ जाये,

कभी दुनिया मेरी बन जाए;

चाहे कितना भी मुकर ले,

तेरे आसूं पहचानती हूँ


कभी तुझसे दूर हूँ

कभी तेरे पास हूँ

चाहे कितना भी ठुकरा ले,

मे तो तेरा ही हिस्सा हूँ


तु रुठी है जानती हूँ

तु नाराज़ है जानती हूँ

चाहे कितना भी छुपा ले माँ,

तेरा प्यार मे जानती हूँ


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