लम्हे ज़िन्दगी के
लम्हे ज़िन्दगी के
ये लम्हे ज़िन्दगी के यूही गुजर जायेंगे
ये पल भी चला जाएगा
इस पल में जिलों ये पल भी गुजर जाएगा
इस पल में गलत करने वालो को माफ करदो
इस पल में अपनी ग़लती की माफी मांग लो
इस पल किसी से मोहब्बत की है तोह जता दो
ये पल भी चला जाएगा
वक्त और साथ किसी के मोहताज नहीं होते
आज साथ है तोह उसको खुशी से जियो
ये वक्त कोई खेल नहीं है आज तुम्हारे पास है
कल पता नहीं हो ना हो
वक्त और साथ मुकम्मल ना हो तो एक अनकही
और एक अनसुनी दास्तान बनजाती है
ये लम्हे ज़िंदगी के उही रहाजाते है
तू हर लम्हे को जी उसको महसूस कर
तू हर लम्हे को अपना बना ले
तू हर लम्हे में अपनी जान लगा दे
तू हर लम्हे में अपने को पहचान ले
तू हर लम्हे अपने से जीत और फिर दुनिया से जीत
ये लम्हे जिंदगी के गुज़र जाएंगे तू हार ना माना !