लिली
लिली
कही जाते हुए रास्ते मैं
एक फूल दिखा
किसी दिन सफर में मेरे
तेरा दिदार हुआ
आज फिर फूल को देखकार तेरी याद आयी
याद के साथ मिठी बात आयी
बातों मैं तेरी थी मुस्कान बडी प्यारी
मुस्कान के साथ खुशबू थी इत्र की सुनहरी
फूल को सुंघकर पता चला
वो तो थी हल्की सी लीली।