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Dr.Ankit Waghela

Inspirational

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Dr.Ankit Waghela

Inspirational

कुछ कमी है!

कुछ कमी है!

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बंध के रहना अपनी ज़मीं से, उड़ने को आसमां कई है

जीना खूबसूरत भी तभी है, जिंदगी में जो..कुछ कमी है


जो पाया है ..तो कुछ खोना है, ज़िन्दगी एक मुखौटा है

बा दस्तूर ये सच..अतेह सामने उसके..हर कोई बोना है


चलते जा..कछुए की भांति से, रास्ता उसका सलोना है

राम रावण दोनों भीतर है, बेसब्र बने.. क्या पिरोना हे?


मंजिल बहरूपिया...कारवां है सच, कल किसने देखा है

गुम है सब..अंकीत वहीं है, बीच मजधार में जो लड़ा है


बंध के रहना अपनी ज़मीं से, उड़ने को आसमां कई है

जीना खूबसूरत भी तभी है, जिंदगी में जो..कुछ कमी है


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