खुद को निखारो
खुद को निखारो
मेहनत से काम कर
आदतों को ढालकर
दो कदम आगे बढ़कर
खुद को निखारो
खुद में खुद से झांककर
खुद से ही बात करो
खुद पर हमेशा ही
एतबार करो
खुद को समय से ढालकर
दो कदम आगे बढ़कर
अपनी कमियों को बिसराकर
खुद को निखारा करो
मौका दो खुद को खिलने का
कभी आसमान में उड़ने का
तपाकर अपने आप को
मौका दो निखरने का
खुद पर करो विश्वास
मन में जगाओ आस
खुशी गम के साथ रहकर
खुद को थोड़ा निखारा करो
छोटी छोटी ख़ुशियों में ही जिंदगी है
बड़ी खुशी के पीछे ना भागा कर
लंबा तुम ना इंतजार कर
खुद में थोड़ा निखार कर
मुस्कान से जो खिलेगा चेहरा
रहेगा ना दुःख का पहरा
मन में संतोष भरकर
खुद को तुम निखारा करो
खुशी के आगे हाथ फैलाकर
दूसरों को देख ना ललचाकर
नसीब को अपने चमकाकर
खुद को तुम निखारा करो
गम का बादल छांटकर
हौसला मन में भरकर
दर्द को परे हटाकर
खुद को निखारा करो
खुद में खुद से आत्मसात कर
खुद ही गुफ्तगू करो
आत्मचिंतन से मन को भरो
खुद का ही निखार करो
समय के साथ चलकर
प्रकृति के रंग में रंग कर
जीवन में लयबद्ध बनो
खुद का ही निखार करो
उदासी जीवन की सजा है
सोचकर देखो हर पल में मजा है
भुलाकर जीवन के गम
खुद को हमेशा निखारा करो