गुलाबी स्त्रीत्व
गुलाबी स्त्रीत्व
माता सती की देह त्याग के बाद
तांडव शिव ने मचाया था
माता को लेकर हाथों में
उन्होंने समस्त विश्व को रुलाया था।।
देखकर ये हा हा कार
सब कांप उठे उसी क्षण
सभी देवता प्रकट हुए
शिव के पास उसी क्षण।।
शक्ति पीठ की स्थापना का
दिया उन्होंने सुझाव
शिव ने मान कर उनकी वंदना
शक्तिपीठ के रूप में जुड़ा एक लगाव।।
माता के अंग के टुकड़ों से
51 शक्तिपीठो की करी स्थापना
स्त्रीत्व को दे उन्होंने
पवित्रता की नई परिभाषा।।
कामख्या देवी जो कहलाई
वो स्त्रीत्व का प्रतीक बन आई
रंगों की इस दुनिया में
नया रंग पवित्रता का वो लेकर आई।।