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Sanam Writer

Inspirational

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Sanam Writer

Inspirational

ग़ज़ल

ग़ज़ल

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इन आँखों ने जाने क्या क्या देख लिया

साँसों को बोतल में बिकते देख लिया


उसको चुपके से देखा करता था मैं

उसने मुझको देखते हुए देख लिया


जब भी मन ये मेरा विचलित होता था

मैंने तब कान्हा का फ़ोटो देख लिया


खोजना था वक्त बदले वाला शख्स

आईने में अपना चेहरा देख लिया


जो माँ को हँसते देखा है तुमने तो

कलयुग में ही सतयुग तुमने देख लिया


थक गया था चाहिए थी थोड़ी राहत

बैंड सनम का मैंने गाना देख लिया।


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