बिन फेरे हम तेरे
बिन फेरे हम तेरे
रिश्तो की दरकार नहीं,
तुझे मानने के लिए,
अपना हमसफर,
तू तो बसता है मेरी,
यादों के रास्ते से होकर,
रूह के हर शज़र पर।
दूर होकर भी सफर,
जो करता है मेरे,
ज़हन की हर सड़क पर,
तेरा यूँ थामना मुझे,
मेरे भीतर की टूटन,
को सहलाता है हर दफ़ा।

