बेटियां
बेटियां
पैदा होने पर अपनी
और शादी होने पर विदा हो जाती हैं बेटियां
पिता के आंगन में रह कर
किसी और का आंगन सजाती हैं बेटियां
अपने घर से दूर रह कर भी
दोनो घर को संभाल लेती हैं बेटियां
अपने परिवार के साथ साथ
दूसरे घर को भी अपना बनाती हैं बेटियां
एक जन्म में कई जन्मों का
बंधन निभाती हैं बेटियां
और सारे संबध का ध्यान रख
अपने आप को ढाल लेती हैं बेटियां
इसी लिए शायद सभी के
कलेजे का टुकड़ा होती हैं बेटियां।