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Gurudeen Verma

Tragedy

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Gurudeen Verma

Tragedy

बात यही है अब

बात यही है अब

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बात यही है अब , तुम्हारी तुम जानो अब।

कहीं भी और कैसे भी , चाहे तुम रहो अब।।

बात यही है अब -------------------------।।


क्या मेरा ख्वाब नहीं, क्या मेरी शान नहीं।

मेरी भी तो हस्ती है, क्या मेरा ईमान नहीं।।

मेरा भी है एक परिवार, ख्याल उसका है अब।

बात यही है अब -------------------------।।


क्या नहीं किया है, तुमको रखने को खुश।

जुल्म जग के सहे, नहीं मिला तुमसे कुछ।।

किया मुझको ही बदनाम, नहीं प्यार तुमसे अब।

बात यही है अब -------------------------।।


कितने ऑंसू मैंने अपने, तेरे लिए बहाये हैं।

मैंने अपने पसीने से, रोशन दीप तेरे किये हैं।।

किया मुझको ही बर्बाद, नहीं रिश्ता तुमसे अब।।

बात यही है अब -------------------------।।



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