Shilpa Jain

Inspirational

3  

Shilpa Jain

Inspirational

कुछ परियां काली भी होती है

कुछ परियां काली भी होती है

9 mins
220


" माँ, मेरी स्कूल में कल फैंसी ड्रेस कॉम्पिटिशन है। मेरी सारी सहेलियां परी बनकर आ रही है मैं भी परी बन कर जाऊंगी।" मीनू ने अपनी मां को कहा

"ठीक है बिटिया रानी मैं भी तुम को परी बना दूंगी पर माँ सोच में पड़ गई कहां से वह परी की ड्रेस लेकर आएगी कहां थे उनके पास इतने पैसे थे नही, पिताजी की तनख्वाह से घर का खर्च बड़ी मुश्किल से चलता था। ऐसे में नए कपड़ों के बारे में सोचना तो बहुत ही कठिन था घर में थर्माकोल का टुकड़ा पड़ा था। मां ने उससे पर बना दिए। अगले दिन मीनू को माँ ने एक पुरानी साड़ी को अलग तरीके से पहना दिया और उसके साथ वह थर्माकोल के पंख भी मीनू को लगा दिए। मासूम सी मीनू बड़ी खुश हो गई कि वह भी तो परी बन गई है, खुशी खुशी वो स्कूल चली गई।

स्कूल में जैसे ही वह पहुंची स्टेज पर खड़ी दूसरी लड़कियों को देखकर उसकी वो मुस्कान गायब ही हो गयी। सभी बच्चे जोर जोर से ठहाके लगाने लगे उसे देख कर हंसने लगे और कहने लगे "काली परी, काली परी, देखो कौन आई है काली परी आई है।"

मीनू की आंखों से आंसू झरझर बहने लगे। स्टेज पर जाने की तो वह हिम्मत ही नहीं जुटा पाई और कोने में जाकर चुपचाप बैठ गई उसने अपने हाथों को देखा, काले हाथ स्टेज पर जो बच्चे खड़े थे। बिल्कुल दूध की तरह उजले लग रहे थे वह अपने हाथों को रगड़ने लगी क्या पता किसी तरह कालापन खत्म हो जाए और वह भी उनकी तरह उजली हो जाये।

हताश निराश नन्ही सी मीनू जब घर पहुंची तो उसके आंसुओं की वजह से मोटी मोटी धारियां उसके गालों पर जम चुकी थी मां ने बड़े प्यार से पूछा "मीनू कैसा रहा तुम्हारा दिन और मेरी परी बेटी ने तो सबका दिल जीत लिया होगा।"

"मां तुम झूठी हो, तुम झूठ बोलती हो, मैं कोई परी नहीं हूं। क्या पर यदि कभी काली होती है? मां..... भगवान ने मुझे क्यों इतना काला बनाया है? क्यों मैं इतनी काली हूं मां? बताओ मुझे क्यों, क्या भगवान मुझसे प्यार नहीं करते?" मीनू रोते-रोते बोली जा रही थी

मां की आंखों में भी आंसू भर आए उन्होंने प्यार से मीनू के गालों पर हाथ फेरा और कहा "बेटा ....भगवान कभी रंग नहीं देखते हैं, तुमने कृष्ण जी की कहानी सुनी थी ना कृष्ण जी भी तो काले थे पर फिर भी सभी के लाडले थे। कृष्ण जी ने क्या कहा था तुम्हें याद नही, कर्म किए जा फल की इच्छा मत कर। कोई तुम्हें कुछ भी कहे तुम्हें उससे कुछ भी लेना-देना नहीं है। तुम बस अपनी मेहनत करो, जो इंसान मेहनत करता है, उसको सफल होने से कोई नहीं रोक सकता है। तुम्हारा रंग भी उस सफलता के आड़े नहीं आएगा। बस तुम मेहनत करती रहो।" इतना कहकर माने मीनू को गले लगा लिया

मीनू बड़ी होती गई। लोग उसका मजाक उड़ाते रहे कोई कौवा बुलाता, कोई उसे कलूटी बुलाता, कोई तवा बुलाता। उसकी रंग की वजह से उसके दोस्त भी नहीं बने। मीनू ने ठान लिया कि वह एक दिन इन सब बातों का जवाब अपने काम से देकर दिखाएगी। मीनू बड़ी हो गई पर परी बनने का ख्वाब उसके दिमाग से कभी नहीं गया वह जब भी आईने में खुद को देखती उसे पंख ही नजर आते, वह सोचती क्या सुंदरता सिर्फ रंग से होती है? क्या काला रंग सुंदर नहीं हो सकता?

एक दिन मीनू ने पेपर में एड देखा। एड एजेंसी वालों को एक मॉडल की जरूरत थी। मीनू ने वो कटिंग अपने बैग में डाली और वहां पहुंच गए

"जी सर, इंटरव्यू का ऑडिशन यही हो रहा है?" मीनू ने काउंटर पर बैठे आदमी से कहा।

"हां यही हो रहा है।" उस आदमी ने उसे देख कर रुखा था जवाब दिया

"सर मुझे भी ऑडिशन का फॉर्म भरना है।" मीनू ने कहा तो उस आदमी ने उसे ऐसा देखा जैसे कि कोई बिच्छू डंक मार गया है।

"कामवाली बाई का ऑडिशन नहीं है, मॉडल का ऑडिशन है। तुमने आईना देखा है?" उस आदमी ने मीनू का मजाक उड़ाते हुए कहा

"सर मैं भी मॉडल का ही ऑडिशन देने आई हूं।"

"सुबह सुबह मजाक करने का टाइम नहीं है मेरे पास चलो निकलो यहां से।" उस आदमी ने कहा।

"मैं मॉडलिंग का ऑडिशन देने आई हूं, मुझे ऑडिशन देना है मुझे विश्वास है खुद पर।" मीनू ने कहा।

"जा रही हूं कि मैं सिक्योरिटी वालों को बुलवाना पड़ेगा?" उस आदमी ने कहा।

मीनू वहां से चली गई एक बार फिर मीनू आईने के सामने क्या वह बदसूरत है? नहीं ....वह बदसूरत नहीं है, बहुत सुंदर है, वह परी है और वह दुनिया को दिखाएगी एक दिन कि वह सच में एक परी है।

"मां ....मैं दिल्ली जाना चाहते हूँ। मुझे वहां जॉब करना है।" मीनू ने अपनी मां को कहा।


मीनू की आवाज में बुलंदी देखकर मां समझ गई कि उसका इरादा पक्का है उन्होंने उसे ना नहीं कहा। अगले ही दिन मीनू दिल्ली पहुंच गए। मीनू आर्टिस्टिक मेकअप में अच्छी थी उसने दिल्ली में मॉडलिंग एजेंसी में जॉब के लिए अप्लाई किया क्योंकि वह जानती थी कि उसको वहीं से अपनी एक शुरुआत करनी पड़ेगी। मीनू को मेकअप अच्छा करना आता था इसीलिए मेकअप आर्टिस्ट के तौर पर इस को चुन लिया गया उसका काम मॉडल का मेकअप करना था।

वहां भी उसके रंग को लेकर उसका बहुत मजाक उड़ाया जाता पर उसने हार नहीं मानी क्योंकि वह जानती थी कि उसके हाथ में सिर्फ कर्म करना है और वह अपना काम बखूबी करेगी। तरह-तरह की मॉडल वहां पर आती थी छरहरी, उजली दूध सी खूबसूरत होती थी। मीनू भी खूबसूरत थी लम्बा कद, झील सी आंखें, सुंदर घने बाल बस जो उसके पास नहीं था वह था उजला रंग।


लगभग 20 दिन बाद एक बड़े डिजाइनर का शो था। सारे मॉडल्स वहीं पर तैयारी कर रही थी। बाहर से कोरियोग्राफर और फोटोग्राफर बुलाए गए थे। सब लोग जी जान से अपने काम में जुटे थे।

"ये इवेंट आज तक का बेस्ट इवेंट होना चाहिए और इसके लिए मुझे एक से बढ़कर एक मॉडल सेलेक्ट करनी है।" फैशन डिजाइनर की डिमांड थी।

"इसके लिए मैंने बहुत पैसे खर्च किए हैं और बाहर से मैंने फोटोग्राफर और कोरियोग्राफर बुलाये है। मैं नहीं चाहता इस शो में कोई भी कमी हो।" फैशन डिजाइनर ने इवेंट ऑर्गेनाइजर को कहा।

"बेफिक्र रहिए सर, हम एक से बढ़कर एक लोगों को इसके लिए सेलेक्ट करेंगे। आपको किसी भी तरह की कोई भी दिक्कत नहीं होगी इस बात की मैं गारंटी लेता हूं आपका यह शो आज तक का सबसे बड़ा हिट शो होगा।"

अगले कुछ दिनों में शो की तैयारियां चरम पर थी। विदेशों से भी फोटोग्राफर आ चुके थे। मीनू भी व्यस्त थी यह मौका था अपनी प्रतिभा को बताने का जब भी मीनू को मौका मिलता वह देखती कि मॉडल्स किस तरह से चल रही है, किस तरह से रैंप वॉक वह करती है और किस तरह से वह अपने कपड़ों को सहेज कर चलती है कुल मिलाकर वह एक-एक चीज सीख रही थी। खुद उनकी तरह चल रही थी उनकी तरह कपड़े लेकर संवार रही थी। मगर वह नहीं जानती थी कोई है जो उसकी इन हरकतों पर नजर रख रहा है, उन्हें तस्वीरों में उतार रहा है।

कल शो का फाइनल डे है। हमारी पूरी टीम समय पर आएगी और ध्यान रखना हर एक चीज अपनी जगह पर होनी चाहिए। सारे डिपार्टमेंट अपनी एक-एक चीज का ध्यान रखें। आज तक की हिस्ट्री का सबसे बेस्ट शो होना चाहिए। ऑर्गेनाइजर पूरी टीम को इंस्ट्रक्शन दे रहे थे और मीनू भी उस टीम में शामिल थी।

"क्या कहा ......मॉडल इंजर्ड हो गई है? यह कैसे हो सकता है। 4 घंटे बाद जो है अब हम दूसरी मॉडल का इंतजाम कैसे करेंगे।" शो ऑर्गेनाइजर फोन पर चिल्लाए जा रहे थे।

"आई हैव ऑप्शन फॉर यू।(मेरे पास आपके लिए विकल्प है) विदेश से आए फोटोग्राफर टीम के हेड ने कहा।

"सर बट वी डोंट हैव टाइम, इतनी जल्दी सब कुछ कैसे होगा। ऑर्गेनाइजर ने कहा।

"योर टीम मेट मीनू विल बी आवर मॉडल। आई एम ऑब्सर्विंग हर फ्रॉम लास्ट फ्यू डेज एंड शी इस जस्ट एक्सीलेंट। आई हैव सीन स्पार्कल इन हेर आईज। शी इज परफेक्ट फ़ॉर आवर शो। हैव यु एवर सीन पॉप सिंगर रिहाना। शी इज जस्ट लाइक हर। आई हैव क्लिकड हर फोटोग्राफर, जस्ट हैव अ लुक।"

(आपकी टीम मेंबर मीनू हमारी मॉडल होगी, मैं उसे पिछले कुछ दिनों से देख रहा हूं उसकी आंखों में गजब की चमक है वह हमारे शो के लिए सबसे परफेक्ट रहेगी क्या आपने कभी पॉप सिंगर रिहाना को देखा है वह बिल्कुल उसके जैसी दिखती है, मैने उसकी कुछ तस्वीरें ली है जरा देखो) उस फोटोग्राफर ने कहा।

मीनू की फोटोज लाजवाब थी। वैसे भी उनके पास में अब कोई भी विकल्प नहीं रह चुका था। फैशन डिज़ाइनर ने भी अपनी तरफ से हां कर दिया और आज मीनू को अपनी सपनों की उड़ान भरने का मौका मिल गया था। उसके हौसलों को पर दे दिए थे। वह जानती थी कि वह इसी दिन के लिए बनी है। वह हार नहीं मानेगी न आज और न कल....बस ये उसका सबसे बड़ा मौका है और पूरे आत्मविश्वास से लबरेज मीनू स्टेज पर थी। तालियों की गड़गड़ाहट कम नहीं हो रही थी। काले रंग की वजह से मीनू को हमेशा शर्मिंदा होना पड़ा जो काला रंग उसकी टैलेंट की वजह से आज हार गया था। अगले दिन सारे अखबार देसी रिहाना के नाम से भरे पड़े थे जिस मीनू को उसके स्कूल में काली परी कहा जाता था आज उसके पास पैरिस से फैशन शो के लिए ऑफर आ रहे थे। 

आज मीनू एक टॉप इंटरनेशनल मॉडल है, एक बार फिर वह मंच पर अपना अनुभव साझा कर रही है।

"दोस्तों .....क्यों रंग इतना महत्वपूर्ण होता है? इंसान को भूल जाते हैं? क्या सुंदर सिर्फ गोरे रंग से ही बना जा सकता है। क्या आप सबने कभी परियों को नहीं देखा है? नहीं ना...... पर हमने उनकी कल्पना ही है। मैंने भी बचपन से परियों की कल्पना की थी। मैंने खुद को परी के रूप में सोचा किसने कहा पारियां सिर्फ गोरी होती है कुछ परियाँ काली भी होती है।" जिस आत्मविश्वास से उसने कहा एक बार फिर तालियों की गड़गड़ाहट गूंज उठी।

दोस्तों, हमारे यहां सभी लोग बड़ी-बड़ी बातें करते हैं की तन नहीं बल्कि मन सुंदर होना चाहिए मगर जब असलियत पर बात आए तो सबको वही लुभाते हैं जिनका तन सुंदर होता है। गोरे रंग को हमेशा ही तरजीह दी जाती है पर हम यह भूल जाते हैं कि भगवान हुनर किसी को रंग देखकर नहीं देता और यही कहानी रही मीनू की जो कि वास्तविक जीवन में बागीचा गाँव की जशपुर जिले की मॉडल रेने कुजूर की कहानी है। जिसने अपने हौसलों की उड़ान के दम पर पूरे विश्व में अपनी पहचान बनाई , वो आज लाखो ऐसी महिलाओं के लिए मार्गदर्शक है जो अपने रंग की वजह से हीन भावना से ग्रसित है। 


Rate this content
Log in

Similar hindi story from Inspirational