होली पर बनेगे दुर्लभ संयोग
होली पर बनेगे दुर्लभ संयोग
होली भारतवर्ष के प्रमुख त्यौहारों में से एक है होली पर सभी लोग मदमस्त होकर रंग गुलाल प्रेम से लगाते हैं होली एक रंगों का सबसे बड़ा महोत्सव है होली के साथ अनेक दन्तकथाओं और पौराणिक कथाओं का इतिहास जुड़ा हुआ है होली के उत्सव से एक रात्रि पूर्व होलिका दहन का आयोजन किया जाता है सभी लोग आपस में गले मिलकर इस पर्व को मनाते हैं भारतीय प्राचीन संस्कृति का रंगीन पर्व है होली भारतीय ज्योतिष के अनुसार वर्ष 2020 में होली का महापर्व 10 मार्च को है इस वर्ष होलिका दहन के समय में भद्रा का कोई स्पर्श नहीं रहेगा
● 9 मार्च को पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र के चलते ध्वज योग रहेगा
● गज केसरी योग विशेष रूप से रहेगा
● होलिका दहन का मुहूर्त्त 9 मार्च संध्याकाल 06:23 मिनट से 08:50 मिनट तक
रंगो का यह महोत्सव होली 10 मार्च को मनाया जाएगा 9 मार्च को भद्रा का वास भूलोक पर रहेगा इस दिन भद्रा दोपहर 01:13 तक ही रहेगी साय काल प्रदोषकाल में होलिका दहन के समय में भद्रा न रहने से होलिका दहन शुभफलकारक रहेगा जिसके चलते ग्रहदोष, आदि अनेक बाधाओं पर प्रतिबंध रहेगा गजकेसरी योग यश और ऐश्वर्य लेकर आएगा पूर्व में ग्रहों का यह अद्भुत संयोग 3 मार्च 1521 के दिन बना था इससे स्वराशि में स्थित गुरु की दृष्टि चन्द्र पर बनी रहेगी जिसकारण गजकेसरी योग बन रहा है।