STORYMIRROR

Jyoti Negi

Inspirational

2  

Jyoti Negi

Inspirational

उस चाँद से जलता हूँ

उस चाँद से जलता हूँ

1 min
296

हूँ तो मैं अदना सा

ख्वाब आसमान के देखता हूँ

छोटे अपने हाथों को

ऊपर और ऊपर खींचता हूँ

हिम्मत दम तोड़ देती है

हर रोज मेरी

पर हर रात उस चाँद से जलता

और वापस वही दोहराता हूँ

आज सीढ़ी नयी लाया हूँ

शायद पहुंच जाऊँ

उस चाँद से आगे

हर बार

तरकीब नयी लगाता हूँ


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational