सफलता क्या?
सफलता क्या?
सफलता चाहता तो है हर कोई
क्या होती सफलता जानता न कोई
कोई पैसे अधिक हो जाएँ तो मानता
कोई अधिक नाम होने को पहचानता
अधिक लोग सम्मान करें तो ये पैमाना
टीवी अखबार में आने को किसी ने माना
कोई कहता सफलता मिलती नहीं होती महसूस
दिल के अन्दर उतरकर कौन देखे बनकर जासूस
इसीलिए भैया ज्यादा न खोजो सफलता, वफलता
चुप खाओ कमाओ और किस्मत को बताओ धता
किस्मत तुम्हारे हिसाब से चले तो अच्छा
वक़्त की हर शह गुलाम, सुना तो है बच्चा
तभी तो बाबा कबीर, संतोष को बता गए बड़ा धन
नमस्कार महाराज! अब थोड़ा शांत कीजिये मन।