समय से बड़ा कोई बलवान ना होता
समय से बड़ा कोई बलवान ना होता
आज की उदासी में क्यूँ तू हरपल है रोता,
हर गम के बाद खुशियां भी तो है आती,
कल क्या होगा ये कौन है जानता,
क्यूंकि समय से बड़ा कोई बलवान ना होता।
पैसो से कोई बड़ा या छोटा नहीं है होता,
आज जो अमीर कल वो फ़कीर है बनजाता,
इंसान अपने कर्मों से ही महान है होता,
क्यूंकि समय से बड़ा कोई बलवान ना होता।
सचाई का राह जो कभी ना छोड़ता,
जीत हमेशा उसीका का ही है होता,
आखिर में सच के सामने झूठ सदा ही है झुकता,
क्यूंकि समय से बड़ा कोई बलवान ना होता।
