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अक्षरश : हिंदी साहित्य Dg

Abstract

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अक्षरश : हिंदी साहित्य Dg

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होली

होली

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सभी को होली की अनंत शुभकामनायें !

रंग-रूप अलग हैं ख्याल,तरंग अलग हैं,

इस वसुधा के तो देखो ढाल और ढंग अलग हैं।

सभी को निकटसे निकटतम दिल के बना लो,

मिल जाते हैं सब रंग इस फाग में, होली का ये तो चलन अलग है।"


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