हमारी दुनिया।
हमारी दुनिया।
हमारी दुनिया।
कैसी दुनिया बनाई ईश्वर ने,
बर्बादी की झलक दिखाई उन्होंने।
आज की दुनिया में, दिल भी है एक सौदा,
रिश्तों का हर पल हर वक्त होता है सौदा।
प्यार और खुशियों का भी है बसेरा ,
पर बुराई,दुख और अत्याचार का भी है बसेरा।
एक मीठी मुस्कान, कभी तो एक छोटा सा प्यार,
कभी-कभी लगता है सब कुछ है बेकार।
जब लोग एक-दूसरे को नीचा दिखाने से बाज नहीं आते,
छोटी छोटी बात का बतंगड़ है बनाते।
पर उम्मीद भी है, थोड़ा सा विश्वास भी,
कि बदल जाएगी दुनिया कभी ना कभी।
जो रास्ते आज कठिन हैं, कल वही सरल बन जाएंगे।
जीएगी दुनिया अपने दम पर ,जब सब ताने ख़त्म हो जाएंगे।
Jeetal shah ✍️
