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Sanjay Jain

Abstract

5.0  

Sanjay Jain

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हम सब जैन है

हम सब जैन है

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मेरा कर्मा तू, मेरा धर्मा तू,

मेरा जैनधर्म,सब कुछ है तू।


हर कर्म अपना करेंगे,

जैन धर्म के अनुसार।

जैनकुल में जन्म लिया है,

जैनी होने का अभिमान।

हम जीयेंगे हम मरेंगे,

जैन धर्म के अनुसार।

जैनकुल में जन्म लिया है,

जैनी होने का अभिमान।।


तू में कर्मा, तू मेरा धर्मा,

तू मेरा अभिमान है।

जैन धर्म तुम पर,

मेरा जीवन कुर्बान है।

हम जिएंगे हम मरेंगे,

जैन धर्म के अनुसार ।

जैनकुल में जन्म लिया है।

जैनी होने का अभिमान है।।


दिगम्बर, श्रेताम्बर, स्थानकवासी,

हम सब जैन है, बस हम जैन है।

जो करे पंथवाद की बाते,

वो महावीर का भक्त है ही नहीं।

हम जीएंगे हम मरेंगे,

जैन धर्म के अनुसार ।

जैनकुल में जन्म लिया है।

जैनी होने का अभिमान है।।  



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