STORYMIRROR

Vijay Kumar parashar "साखी"

Inspirational

3  

Vijay Kumar parashar "साखी"

Inspirational

"हीरो"

"हीरो"

1 min
180


हर जीरो है, हीरो

हर हीरो है, जीरो

कोई न कमजोर

सब है, रोशन भोर

पहचाने की देर

हर शख्स है, शेर

कोयले में होता

एक हीरा छिपा

जो करे, मेहनत

कालिदास बन

मचाते है, शोर

हर जीरो है, हीरो

हर हीरो है, जीरो

लोहा बने, स्वर्ण

जो करे नित श्रम

हर कृष्ण, रंग

बने श्वेत वर्ण

गर इरादों में है

सत्यपथ, वीरों



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational