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Anoop Sonsi

Abstract

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Anoop Sonsi

Abstract

चल खत लिखते हैं !

चल खत लिखते हैं !

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चल दोनों एक दूजे को खत लिखते हैं ! 

कुछ बात कुछ बात-बे-बात लिखते हैं !


साथ साथ भीगी हुई बरसात लिखते हैं !

और हिज़्र में काटी हुई रात लिखते हैं ! 


दोनों मिलकर तेरी मेरी बात लिखते हैं !

कुछ सच्चे कुछ झूठे हालात लिखते हैं !


चल बेहद और बेइंतहा याद लिखते हैं !

आओ हम वस्ल की वारदात लिखते हैं ! 


चारगों में ढलती हुई शाम लिखते हैं !

हाथों में जब थामा था हाथ लिखते हैं !


चल दोनों एक दूजे को खत लिखते हैं !

मिलकर एक मुकम्मल बात लिखते हैं !


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