बूंदें
बूंदें
बादलों में हलचल सी है,
कोई बात है जो कहनी है,
एक आगाज़ है मौसम का,
कुछ अलग अंदाज है रब का,
दिन का दूसरा पहर है,
और वादियां शांत है,
हवाएं ठंडी सी बह रही हैं,
सौंधी सी खुशबू का एहसास है,
खुश है मंडराते परिंदे,
बादलों की हलचल का उन्हें अंदाज़ है,
हवाओं की बात हुई है पेड़ो से,
खुशनुमा पैगाम आया है कहीं दूर से,
रूखे रूखे से नज़ारों में,
ज़रा सी नमी का एहसास है,
प्यासे परिंदों और वादियों को,
अब बस बूंदों का इंतज़ार है।