SIJI GOPAL

Romance

5.0  

SIJI GOPAL

Romance

पहला प्यार और आखिरी भरोसा

पहला प्यार और आखिरी भरोसा

2 mins
438


कैसी हो ? करीब 15 मिनट की चुप्पी के बाद मैंने पूछा। जवाब में उसकी आंखों से पहले दो बूँद आंसू छलके..फिर हल्के से मुस्कुराकर उसने कहा, "ठीक हूँ।"

तीस साल बाद, मैं अपनी सरोज से मिला था। हमारी आंखें बहुत कुछ कह रही थी, पर शब्द जैसे, कहीं गुम हो गए हों। "मेरी सरोज" कहने का हक तो‌ मैं बहुत पहले ही खो‌ चुका था, पर आज भी दिल यह मानने को‌ तैयार न था। 

आज मैं एक नामी हस्पताल में सीनियर ऑन्कोलॉजिस्ट हूँ। मेरे पास नाम और शोहरत दोनों हैं, जिसका ताना देकर सरोज के पिता ने मुझे उनके घर से निकाल दिया था। वो बीते लम्हें एक-एक कर मेरी बुढ़ी आंखों के सामने आते गए।

सरोज की सिसकियों ने मुझे यादों की दुनिया से जैसे वापस बुला लिया। मैंने तसल्ली देते हुए सरोज़ से कहा, "डोंट वरी... आलोक को कुछ नहीं होगा। हम सब अपनी पूरी कोशिश कर रहे हैं। तुम मुझ पर भरोसा... " कहते कहते मैं रुक गया। हमारे रिश्ते में ,भरोसा शब्द का, मायना बदल गया था।

आज आलोक की तेरहवीं थी। सरोज के आंखों के आंसू अब सूख से गए थे। पिछले एक महीने से सरोज की कमजोर आंखों में जो आशा की किरण थी वो भी बुझ गई थी। 

"इकलौता बेटा था! वो भी चला गया, अब क्या करेंगी बेचारी ?" 

"इस उम्र में ‌कहांँ जाएंगी ?"

सांत्वना देकर धीरे-धीरे सब दोस्त, रिश्तेदार अपने-अपने घर चले गए। मैं,अब भी वहीं, ‌आलोक की‌ तस्वीर के‌ सामने खड़ा था। 

"सतीश अंकल मुझे मौत से डर नहीं लगता, पर मेरी मां के खातिर मुझे बचा लिजिए। उसका मेरे‌ सिवा कोई नहीं हैं.. कोई नहीं।"

भीड़ जा चुकी थीं.... मैं वहीं रुक गया.. एक नयी राह की ओर ... कदमों में वो बल नहीं था... पर आज भरोसे का अर्थ फिर बदल रहा था.... शायद हमारा रिश्ता भी....।

ये कविता सतीश और सरोज के अमर प्रेम के नाम


पहला प्यार हमसे भुलाये न भूलता है,

बस अब समय की एक लहर बह गई हो जैसे।

वो चेहरा आज भी खुबसूरत लगता है,

बस अब झुर्रियों की परत जम गई हो जैसे।

वो मुकाम आज भी मुमकिन लगता है,

बस अब कोहरे का धुंधलापन छा गया हो जैसे।

हमारे मिलन की इल्तज़ा ख़ुदा के द्वार पर है,

बस अब परम्पराओं का ग्रहण लग गया हो जैसे।

हसरतों के मयखाने में जाम के घूंट बाकी है,

बस अब होंठों में आर्द्रता की सीलन पड़ी हो जैसे।

तुम्हें पाने की राह चलूं, हौंसले बुलंद है,

बस अब पैरों में एक कंपकंपी आ गई हो जैसे।


Rate this content
Log in

Similar hindi story from Romance