हरि शंकर गोयल "श्री हरि"

Comedy

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हरि शंकर गोयल "श्री हरि"

Comedy

गमला चोर

गमला चोर

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चोरी भी एक कला है तो जाहिर है कि चोर भी एक कलाकार है । कलाकार का सम्मान करना इस देश की परंपरा है इसलिए लोग चोरी करने को बुरा नहीं मानते हैं बल्कि चोरी की कला का गुणगान करते हैं । कुछ लोग तो गर्व से अपनी की हुई चोरियों का बखान करते हैं । सुनने वाले भी चोरी की अद्भुत कला पर तालियां बजाते हैं । 

चोरी भी अनेक प्रकार की होती है । कोई पैसा चुराता है तो कोई जेवर । कोई हीरे जवाहरात चुराता है तो कोई जानवर ही चुरा लेता है । गाड़ी चुराना तो बहुत मामूली बात है , लोग तो पूरी की पूरी मालगाड़ी ही चुरा लेते हैं । स्ट्रीट लाइट , रिफ्लेक्टर तो कोई गंजेड़ी, नशेड़ी ही चुरा लेता है जिससे उसका एक दिन का "काम" चल जाये । और तो और लोग तो रेल गाड़ी से "धोने वाला मग" ही चुरा कर ले जाते हैं तभी तो रेल विभाग उस मग को चैन से बांधकर रखता है । बैंक वाले पैन को बांधकर रखते हैं । क्या पता कोई पैन ही चुराकर ले जाये तो ? होटलों से तौलिया, क्रॉकरी चुराते हुए बहुत से अमीरजादों को देखा है । राजस्थान की एक महारानी तो सर्किट हाउस से मंहगा कॉलीन ही चुराकर ले गई थी । कुछ लोग तो सूने मकान से बिजली की फिटिंग्स, नल के पाइप तक उखाड़ कर चुरा ले जाते हैं । और तो और हमने तो कुछ पूर्व मुख्यमंत्रियों को भी "टोंटी" चुराते हुए देखा है । 

क्या कहा कि दिल पे मत लीजिए ? दिल की तो बात ही मत कीजिए साहब । यह तो बना ही 'चुरने' के लिए है । कब, कौन, कहां चुरा ले इस दिल को, पता ही नहीं लगता है । लोग कहते हैं कि हुस्न वाले दिल चुराते हैं पर हुस्न वाले कहते हैं कि लोग खुद ही अपना दिल उन्हें सौंप आते हैं इसलिए उन्हें चुराने की आवश्यकता ही नहीं पड़ती है और लोग उन्हें मुफ्त में बदनाम करते रहते हैं । कुछ लोग तो दिल को लेकर इतने लालायित रहते हैं कि खुद ही कहते हैं "चुरा लो न दिल मेरा सनम" पर हाय री किस्मत ! कोई उनका दिल चुराने को तैयार ही नहीं होता है तब बेचारे आशिक क्या करें ? अपने ही हाथों अपने दिल का खून कर देते हैं । दिल चुराने वाले केवल दिल ही नहीं वरन रातों की नींद और दिन का चैन भी चुरा लेते हैं । जैसे कि कोई स्कीम चल रही हो, एक के साथ दो फ्री । अब आप ही बताइये, कोई कहां तक संभाले अपने दिल को । लोग तो इतनी होशियारी से चीजें चुराते हैं कि आंख से काजल चुरा लें और पता भी ना लगने दें । ऐसे महान चोरों को साष्टांग दण्डवत प्रणाम है । 

दौलत चुराना, दिल चुराना तो ठीक है मगर नजर चुराना ठीक नहीं है साहब । नजरें चुराने वाले को अच्छा नहीं समझा जाता है । नजरें चुराने के बजाय नजरें मिलाने वाला वीर साहसी कहलाता है । मगर कुछ लोगों को नजरें चुराने में ही आनंद आता है तो कोई क्या करे ? जब जरूरत होती है किसी की मदद की तो लोग नजरें चुरा लेते हैं । आजकल नजरें चुराने वाले लोग बहुत मिल जायेंगे । इनसे सावधान रहने की जरूरत है । 

चुराने वाले तो कुछ भी चुरा लेते हैं । फार्मूला, तकनीक , गीत, संगीत , स्क्रिप्ट, कहानी, लेख सब कुछ । यहां तक कि लोग तो विचार तक चुरा लेते हैं । महाराष्ट्र में तो किसी ने कहा है कि उनकी पार्टी ही चुरा ली है किसी ने । तो भैया रो काहे रहे हो, जाओ और FIR दर्ज करवाओ । रोने से काम नहीं चलेगा । 

आजकल एक चोरी बहुत प्रसिद्ध हो रही है । एक वीडियो बहुत तेजी से वायरल हो रहा है जिसमें दो आदमी एक लग्जरी कार में फूलों के गमले रख रहे हैं । लोग इन्हें "गमला चोर" कह रहे हैं । गमला चोरी शायद एक नई विधा ईजाद हुई है चोरी की । इस चोरी की खूब धूम मची हुई है । चालीस लाख की कार वाला व्यक्ति गमले चुरा रहा है । वाह, क्या बात है ! भई, मजा आ गया । ऐसी चोरी और चोर को देखने की तो अपनी भी इच्छा है । क्या पता ऐसी ही चोरी कर करके उसने वह लग्जरी गाड़ी खरीदी हो ? 

गमले चोरी करना उसकी मजबूरी भी हो सकती है । चोरी के अलावा और क्या करे वो भाई ? कार की ई एम आई ही इतनी होती है कि उसे चुकाने के बाद रोटी के लिए पैसे ही नहीं बचते हैं । गाड़ी आजकल किस्तों पर आसानी से मिल जाती है । बीवी ने फरमाइश की और गाड़ी हाजिर । अब गाड़ी तो आ गई मगर घर कैसे चले ? उस पर तुर्रा ये कि बीवी को फूलों से इतना प्यार है कि उसे रोज सुन्दर सुन्दर फूल भी चाहिए। बेचारा आदमी करे तो क्या करे ? बीवी से कब तक झगड़े ? रोज रोज बीवी के ताने सुनने से तो अच्छा है कि गमले चोरी कर लो और बीवी को खुश कर दो ।

कितनी चोरियां होती हैं रोज रोज ? जब उनका ही पता नहीं चलता है तो गमले चोरी का पता कैसे चलेगा ? और अगर पता चल भी जायेगा तो केस चलते चलते ये जिंदगी तो बीत ही जायेगी मगर फैसला नहीं आ पायेगा । आजकल कोर्ट को न्याय करने को टाइम ही कहां मिल पाता है ? ज्यादातर समय तो वह सरकारी काम में मीन मेख निकालने में ही लगी रहती है । अगर थोड़ा बहुत टाइम मिलता है तो वह हिजाब , कुरान, मंदिर, मस्जिद में व्यस्त रहती है । इसलिए गमले चुराने में कोई समस्या नहीं है । कम से कम बीवी की रोज की बक बक से तो बचेंगे । यही सोचकर वह आदमी गमले चुराने आ गया । फिर वे गमले किसी की निजी संपत्ति तो थे नहीं , सरकारी थे । सरकारी जायदाद तो सार्वजनिक संपत्ति होती है । जब संपत्ति सार्वजनिक है तो उसने उसमें से अपना हिस्सा ले लिया । अब आप ही बताइये कि यह चोरी कैसे हुई ? 

जिन्होंने वीडियो बनाया उन्हें इतना तो समझना चाहिए कि ऐसी छोटी छोटी बातों का वीडियो नहीं बनाया जाता है । क्या उन्होंने कभी कोई चोरी नहीं की है ? लोग तो बिजली, पानी सब कुछ चोरी कर लेते हैं । और तो और मौका मिले तो चोरी चोरी दुश्मन देशों के राजनयिकों से भी मिल लेते हैं । तो जो खुद चोर हों उन्होंने गमले चोरी का वीडियो बना लिया और उसे वायरल भी कर दिया । बहुत नाइन्साफी है ये । एक गमला चोर को अगर सजा देना ही चाहते हो तो पहले उन सब चोरों को सजा दो जिन्होंने नींद, चैन, करार , खुशी , सुख सब कुछ चुरा लिया है । 

फूल होते ही इतने प्यारे हैं कि इन पर सबका मन डोल जाता है । गमला चोर का भी डोल गया । अगर ये गमले चालीस लाख की गाड़ी वाले की जगह कोई दो टके का आदमी चुराता तब भी क्या इतना ही हो हल्ला होता ? तब तो सब कहते "बेचारा गरीब आदमी है । खाने को रोटी नहीं है तो गमले चोरी कर इन्हें बेचकर रोटी तो खा सकेगा । यह तो सरकार की कार्यप्रणाली पर एक प्रश्न चिन्ह है कि किसी गरीब को दो जून की रोटी के लिए गमले चोरी करने पड़ रहे हैं । इसलिए गमला चोर को नहीं सरकार को दोषी ठहराया जाना चाहिए और इस सरकार को नैतिक रूप से सत्ता में रहने का कोई हक नहीं है , अत: इसे इस्तीफा दे देना चाहिए । और अगर स्तीफा नहीं दे तो सरकार को बर्खास्त कर देना चाहिए" । 

सुना है कि कुछ सरकार विरोधी वकील , आंदोलनजीवी, लिबरल्स, पूर्व नौकरशाह, तथाकथित कलाकार, बुद्धूजीवी, क्रांतिकारी पत्तलकार आदि ने सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका लगाई है और इस सरकार को बर्खास्त करने की प्रार्थना की है । देखते हैं कि खुद ही खुद को चुनने वाले मी लॉर्ड्स इस पर क्या फैसला देते हैं ?



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