यादें
यादें
वादा किया था साथ निभाने का
बीच राह ही छोड़ दिया
सोचा ना था हमने ऐसा
जीवन ने ऐसा मोड़ लिया
दीलनवाजी का वादा करके
खुद ही दिल ये तोड़ दीया
इस भरी दुनिया में तुमने
मुझे अकेला छोड़ दीया।
दूर हो मुझसे लेकिन तुम
तम्हारी याद बहुत सताती है
आंखो मे बसती तस्वीर है तेरी
वो हर पल मुझे रुलाती है।
सर्दी की लम्बी रातों में
याद तुम्हीं तो आती हो
तुम हो शायद साथ मेरे
ऐसा एहसास दिलती हो।
दुखी हुवा था जब मन मेरा
एक तुम ही आस जगाती थी
रोया था जब इन आंखो ने
तब तुम ही प्यार जतती थी।
तेरे साथ गुजारे पल वो
सब रंगो से रंगीन रहें
जुल्फो की छाँव में गुजरे वो दिन
नमक से भी नमकीन रहें।
दुरी इतनी भला क्या है
तुम बतलाओ मेरी खता क्या है
अगर हुयी हो भूल कोई
बतलाओ उसकी सजा क्या है
जितना तुझसे प्यार किया
उतना ना किसी से कर पाया
खाली दिल के उस कोने को
नही कोई फिर भर पाया
जब तुमने छोड़ा साथ मेरा
तो मैने ना कुछ कर पाया
चैन से ना जी पाया फिर मैं
ना ही खुशी से मर पाया।

