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Neelam Sharma

Abstract

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Neelam Sharma

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वादा

वादा

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सुनो, कर दो न एक वादा !

जानती हूँ तुम्हारा मुझे टालने वाला जवाब

"वादा तो टूट जाता है !"


पर मेरे लिए झूठे ही सही,

वादा करो कि मेरे सपनों की अँगूठी में तुम

अपने शाश्वत प्रेम का कोहिनूर जड़ दोगे।


उसे पहनाकर मेरे समक्ष बैठकर

अपने प्रेम का प्रस्ताव रखोगे।

जानती नहीं कर सकते,

मगर तुम ज्यादा न सोचो !


तुम्हारे सोचने से सोच को

मोच आ जाती है और बेचारी

सोच फिर कहीं नहीं जा पाती।


हाँ- "इक हसीं ख्वाब के जैसा,

वादा है तेरा 

टूटेगा नींद खुलते ही बिखर जाएगा।

ये तो आदम की फितरत में बसा है,

तू वादा करके साफ़ मुकर जाएगा।


चाहते तो हो कि तुम करो वादा,

मगर तुमसे अदा नहीं हो पाएगा।


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