तर्पण
तर्पण
सिर पर बड़ों का हाथ हो
जीवन भर हो सके तो उनका साथ हो
सिर से उनका साया ना हट पाए
कोई छोटा अपने बड़े बुजूर्ग को पराया कर पाए
मोहॉल हर जगह प्यार का हो
अपनों से बड़ों का सम्मान हो।
दिल मै सबके प्यार हो
किसी बड़े की आंखों मे अपमान के आंसूं ना हो बस हो तो इज्जत के हो।