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Praveen Gola

Abstract

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Praveen Gola

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सोने की चिड़िया

सोने की चिड़िया

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मेरा भारत

आज भी है 

सोने की चिड़िया

चाहे कितना लूटा 

इन गोरे लोगों ने

यहाँ की सम्पत्ति को


पर लूट ना सके 

वो ये दिल

हम भारतीयों का

जिसमे है सोने जैसी शुद्धता।


हमारे प्राणों में बस्ती है 

अपने भारत की तस्वीर

जहाँ गरीब के दिल में भी 

अपना भारत सबसे अमीर

उसे दो वक़्त की रोटी से

अपना पेट भरना स्वीकार है

पर दूसरे देश में जाकर

गुलामी जैसे कार्य करने से 

अपने जीवन पर धिक्कार है 


यही भारत के लिए प्यार है 

मेरे भारत में कोई कमी नहीं

अन्न व्यापार शिक्षा आदि से 

यहाँ आज भी जेब भरी हुई

विदेशियों की मेहमान नवाजी में 


इसका हर जगह बोलबाला है

इतने विशाल हृदय वाले देश को

"सोने की चिड़िया" कहने में

कोई संकोच नहीं।


ये वो भारत है जिसका

पूरे विश्व में कोई तोड़ नहीं।


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