प्रेरणा के पुरुषार्थ लौह पुरुष सरदार
प्रेरणा के पुरुषार्थ लौह पुरुष सरदार
माँ लाड बाई ,पिता जाबर भाई की आंखों का तारा राज दुलारा।।
माँ भारती का नाज़ ,फौजी का घर संस्कृति संस्कार का कुनबा परिवार !!
जाबर भाई माँ लाड बाई की भाव भावना की संतान को वल्लभ दिया दिया नाम।।
वल्लभ जाबर भाई पटेल की बचपन किलकारी माँ भारती ने पहचानी अपने आन स्वाभिमान की संतान!!
शिक्षा के प्रथम दिवस ही गुरुओ के मर्म, गर्व का शिष्य बल्लभ।।।
गुरुओ की महिमा मान स्वाभिमान का स्वर्णिम भविष्य का रचनेवाला वर्तमान!!
प्राथमिक, माध्यमिक शिक्षा पूर्ण कर किया वकालत पास ।।
हर वक्त समय में परिस्थिति कठिनाई में धर्य ,धीर, निडर ,निर्भीक का वल्लभ नौजवान !!
वात्सल्य भी विशेष आश्चर्य चकित का सभ्य, शौम्य, शरारत का घर आंगन।।
नगर, गांव ,शहर की खुशियों आशाओं का नन्हा बल्लभ प्राण।।
जिसने भी पाया नन्हे वल्ल्भ का सानिध्य साथ अपने सद्कर्मों की दिया दुहाई ईश्वर को देता धन्यवाद!!
बचपन से युवा वल्ल्भ ने देखा भारत मे भारत वासी को आपस लड़ते भिड़ते।।
कभी जाती ,कभी धर्म कभी ऊंच, नीच के भेद भाव मे घन घोर अशिक्षा अंधकार के नफरत की धार वार।।
वल्ल्भ का मन विह्वल हो जाता देख माँ भारती की संतानो की खुद के कारण दुर्दशा।।।
मन में ठान लिया माँ भारती कि सेवा व्रत मन ही मन संकल्प किया!!
शिक्षा ,दीक्षा पूरी कर वल्ल्भ ने जाना गुलाम राष्ट्र की वेदना।।
मातृभूमि में नफरत का बीजारोपण कर समाज को बांटती ब्रिटिश हुकूमत।।
माँ भारती के भोले भाले संन्तानो की
भाव भावना को हथियार बनाता।।
भारत को बिल्ली ,बंदर की रोटी की तरह बंटता ।।
अपनी हुकुमत की धार को धार देता उसी धार से ग़ुलाम राष्ट्र को प्रतिदिन टुकड़े टुकड़े कर बाटता !!
नित नए पैतरेवाजी से भारत की संवृद्ध विरासत, परम्परा समाज पर करता अन्याय अत्याचार।।
हद तक करता वार ग़ुलामी के एहसासों से हर भारतवासी था टुटा टुटा बेजान।।।
धधकती सीने में ज्वाला तूफान क्रान्ति नेता नेतृत्व की प्रतीक्षा का इंतज़ार अंदाज!!
वर्ष सन उन्नीस सौ दस से उन्नीस सौ तेरह तक वकालत की शिक्षा किया वकालत पास ।।
वल्ल्भ बना युवा वकील गोधरा से की वकालत की शुरुआत !!
गोधरा में मन न लगा वल्ल्भ पहुंचे अहमदाबाद ।।
सन उन्नीस सौ सत्रह गुजरात सभा का महासचिव युवा ओज बल्लभ की प्रथम राष्ट्र से पहचान!!
उन्नीस सौ अठ्ठारह कर विरोध से वल्ल्भ युवा जोश का शंखनाद !!
वल्ल्भ ने जाना महात्मा का भारत मे महत्व कियाआत्म साथ ।।
बारदोली के गूँज अनुगूँज स्वतंत्रता की क्रांति वल्लभ का आवाज अन्दाज़!!
सन उन्नीस सौ तीस में नमक आंदोलन स्वतंत्रता की चिंगारी का प्रज्वलित मशाल अंगार!!
भारत की माटी के कण कण की थी यही पुकार, सत्य सनातन की जागृति बल्लभ हुंकार!!
भारत की माटी के कण कण की अभिलाषा।।
माँ भारती के कोख से जन्मा हर बच्चा बोले भारत की मर्यादा पराक्रम पुरूषार्थ की भाषा!!
युवा योद्धा ,कर्मवीर ,धर्मवीर भारत महत्व का महत्वपूर्ण लिखे गौरव गाथा!!
गुलामी कि वेदना कि ज्वाला से भारत का कण कण धधकता अंगार।।
अंगारे की चाहत हर भारतवासी हो सत्य सनातन का प्रहरी सिंह बाज़!!
सिसकती माँ भारती की आज़ादी का हो शंखनाद ।।
माँ भारती की वेदना के हर घाव आँसू का करे हिसाब!!
माँ भारती की सुखी आँखों में सत्य सनातन का विश्वास ।।।
भारत की युग चेतना जागृती चेतना के नव शौर्य सूर्योदय की अवधारणा के
अवतार भारत के इतिहास के नायक महानायक के वक्त आगमन का इंतजार!!
माँ भारती नीत देख रही थी अपने ही संतानो के मध्य जाति धर्म का विद्वेष भाव का नया स्वरूप संग्राम ।।।
गुलामी के जंगो दंशों के अपनी छाती पे घाव सीने में चिंगारी की दबी हुयी हुंकार !!
भारत के जन जन में निरीहता की छटपटाहट ।
अन्तर्मन मन से सुलग रहा था निरंकुशता की दासता ।।
मुक्ति का नीति नियंता नेतृत्व नियति का सूर्योदय संध्या कर रहा था पुकार!!
नित्य ,निरन्तर सत्य ,सनातन की धारा समय ने का प्रभा प्रबाह।।
उदय उदित गुजरात नाडियाड में जावर भाई के घर आंगन अम्बर में।
अट्ठारह सौ सन पचहत्तर को ऑक्टोबर को माँ भारती की आशा विश्वशों का सूरज चाँद।।
माँ लाड बाई की कोख का भारत भविष्य माँ की आंखों का तारा अभिमान!!
जावर भाई झांसी की फौज के भाव भावना तेजस्वी, ओजस्वी पुत्र भारत के गर्व अभियान की शान स्वाभिमान!!
दांडी यात्रा से वल्लभ की स्वतंत्रता के महासमर के संग्राम।।
प्रथम पग आज़ाद भारत के सपने पग पराकाष्ठा!!
सन उन्नीस सौ इकतीस में गांधी इर्विन समझौता का साक्षी गवाह।।
वल्लभ के बचपन से छट पटाती माँ भारती की वेदना के अँगार क्रांति के तुफानो की से कराल विकराल का सरदार!!
सन उनीस सौ चौतीस में काँग्रेस का वल्लभ शीर्ष शिखर नेता नेतृत्व की भारत वासी की आकांक्षा !!
वर्ष सन उन्नीस सौ दस से उन्नीस सौ तेरह तक वकालत की शिक्षा किया वकालत पास ।।
वल्ल्भ बना युवा वकील गोधरा से की वकालत की शुरुआत !!
गोधरा में मन न लगा वल्ल्भ पहुंचे अहमदाबाद ।।।
सन उन्नीस सौ सत्रह गुजरात सभा का महासचिव युवा ओज बल्लभ की प्रथम राष्ट्र से पहचान!!
उन्नीस सौ अठ्ठारह कर विरोध से वल्ल्भ के युवा जोश का शंखनाद !!
वल्ल्भ ने जाना महात्मा के भारत मे महत्व को आत्म साथ।।।
किया बारदोली के गूँज अनुगूँज स्वतंत्रता की क्रांति में वल्लभ का आगाज़ अन्दाज़!!
सन उन्नीस सौ तीस में नमक नमक आंदोलन स्वतंत्रता की चिंगारी का प्रज्वलित मशाल अंगार!!
भारत छोडों आंदोलन का अगुआ नेता सरदार वल्लभ भाई सरदार।।
माँ भारती के आँचल चरणों का व्यक्ति व्यक्तित्व भारत के जन जन का अनुराग।।
सन उनीस सौ चौतीस में काँग्रेस का वल्लभ शीर्ष शिखर नेता नेतृत्व की भारत वासी की आकांक्षा अवतार !!
दण्डी यात्रा वल्लभ की स्वतंत्रता महासमर संग्राम।।।
प्रथम पग आज़ाद भारत के सपने पग पराकाष्ठा पुरुषार्थ!!
सन उन्नीस सौ इकतीस में गांधी इर्विन समझौता का साक्षी गवाह ।।
वल्लभ के बचपन से छट पटाती माँ भारती की वेदना अँगार।।
क्रांति के तुफानो की से कराल विकराल का सरदार!!
भारत छोडों आंदोलन का अगुआ नेता सरदार वल्लभ भाई ।।
माँ भारती के आँचल चरणों का व्यक्ति व्यक्तित्व महान।।
सन उन्नीस सौ वयालिस से सन पैतालिस तक स्वन्त्रता का भाव भावना का सैलाब तूफान।।
अत्याचारों अन्याय के कारागार में लौह पुरूष सरदार वल्लभ की अवधारणा का विस्तार!!
जन्म वल्लभ जावर भाई युवा ओज तेज का बना सरदार ।।
आज़ादी के संघर्षों में तपता निखरा जावर भाई लाड बाई की फ़ौलाद सा औलाद ।।
लौह पुरूष लौह की सार्थकता वास्तविकता का सत्य सत्यार्थ प्रकाश।।।
लौह पुरुष सरदार वल्लभभाई आज़ादी की क्रांति युवा युग प्रेरणा आज!!
जन्म वल्लभ जावर भाई युवा ओज तेज का बना सरदार ।।
आज़ादी के संघर्षों में तपता निखरा जावर भाई लाड बाई की फ़ौलाद।।
महात्मा की आत्मा जवाहर हृदय की भाव भावना आज़ादी के क्रांति की चिंगारी प्रज्वलित मशाल।।
की गर्मी मनाव मुल्यों की आज़ादी के मध्य सेतु संतुलन भारत का वल्लभ सरदार!!
सन उन्नीस सौ सैतालीस में भागे अंग्रेज देश हुआ आज़ाद ।।
लाखो त्याग बलिदानों का प्रकाश सैकडों साल गुलामी के अंधेरे अंधकार का सत्यार्थ !!
नरमी की गाँधी मर्यादा ,गौरव ,गरिमा गर्मी के सुभाष की भाषा विश्वास ।।
युवा क्रान्ति के युवा ज़श्न का वल्लभ जावर सुभाष लौह पुरुष सरदार!!
बंटवारे के नाम नोवाखाली में मानव मानवता की हिन्दू को रौंद रहा था जिन्ना जिन्न का इस्लामी राष्ट्र पाकिस्तान!!
जाते जाते अंग्रेजों ने नफरत की जमीं पर जिन्ना जिन्न का किया इज़ाद।।
भारत बंट गया धर्म के नाम पर जिन्ना की जिद पर खंडित भारत बना पाकिस्तान सा इस्लामिक राष्ट्र!!
वल्लभ भाई के कंधों पे आज़ाद मुल्क़ के उप प्रधानमंत्री गृहमंत्री का द्विपद गुरूतर भार !
भारत में खण्ड खंड में बंटे राजा राज्य आज़ादी के उपहार से अंजान।।
कोई स्वागत का करता तो कोई परिहास करता जाना चाहता पाकिस्तान!!
एकता ही श्रेष्ठता अनेकता में एकता की जागृति जागरण का लौह पुरूष सरदार।।
वल्लभ भाई भारत के वर्तमान की प्रमाणिकता का प्रमाण!!
सूझ ,बूझ ताकत ,कमजोरी पर किया वार नेहरु की भाव भावना पद कद अनुभव को करते सम्मान।।
समय आवश्यक आवश्यकता को भाँप नीति, रीति , धैर्य धीरता से माँ भारती को मान दिया सम्मान।।
दिया आज़ाद मुल्क भारत के नक्शे में पाँच सौ पैंसठ खण्ड खण्ड में बंटे आपस मे लड़ते ।।
ग़ुलामी नक़्शे नशे में चूर राज्य राजाओं का एक राष्ट्र नेक राष्ट्र श्रेष्ठ राष्ट्र आज़ादी की एकता के नक्शे का हिंदुस्तान।।
युग सृष्टि में कभी कभार ही वल्लभ जाबर बच्चा युवा बामुश्किल के संघर्षों से तप निखर कर तुफानो से लड़ता दुनिया की आशा विश्वास ।।
युग की प्रेरक प्रेरणा का लौह पुरूष सरदार रचता स्वर्णिम इतिहास!!
