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Narendra Pradhan

Classics Inspirational

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Narendra Pradhan

Classics Inspirational

पहले प्यार की बात

पहले प्यार की बात

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कलम स्याही से भीग रही है।

दिल बात कागज पर आ रही है।

कल शोर-शराबा था, शहर में।

आज, पहले प्यार की बातें हो रही हैं।।


इतिहास सौ साल का नहीं,

बस कुछ साल पुराना हैं।

पहले प्यार की बात क्या कहना,

उसके बिना सब बेगाना हैं।।


वो बातें-मुलाकातें, वो घूमना-फिरना,

सब जरिया था। प्यार को प्यार समझूँ ,

ये किस्मत का खेल था।।


इस खेल में, वो साथी छूट गया,

मोहब्बत का वो वादा टूट गया। 

जाते-जाते कई सबक सिखाया,

प्यार का मतलब जिंदगी ने बताया।।


"ना समझ मैं "

वो पहले प्यार का मतलब जिंदगी ने बताया।

सीने से लगा के, जिसने भूख मिटाया।

चलना, बोलना, खेलना, लड़ना सब सिखाया।

वो "माँ " हैं, जिसने जिंदगी को बेहतर बनाया।।


जरा देर से समझा, जरा देर से जाना।

वो पहला प्यार है

वो मेरी दुनिया है "वो मेरी माँ" हैं।।


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