STORYMIRROR

Ishrat Jahan Amir Ali Khan

Inspirational

4  

Ishrat Jahan Amir Ali Khan

Inspirational

हम में इतनी काबिलियत तो थी |

हम में इतनी काबिलियत तो थी |

1 min
286

हम में इतनी काबिलीयत तो थी ,

कि बिन कहे उनकी हर बात समझ लेते थे।

पर इस बात से हम बेखबर रह गए ,

कि उन्हें अपनी बातों से मुकर जाने की भी आदत थी।


हम में इतनी काबिलीयत तो थी ,

की हर बात पर मुस्कुरा लेते 

पर इस बात से बेखबर रह गए

की लोग हमारी मुस्कुराहट तक छीन लेते|


हम में इतनी काबिलीयत तो थी ,

की हम अपना रिश्ता बचा लेते

पर लोगों का क्या करे

जो हर बात में आ के रिश्ता बिखरा देते|


हम में इतनी काबिलीयत तो थी ,

कि बिन कहे उनकी हर बात समझ लेते थे।

पर इस बात से हम बेखबर रह गए ,

कि उन्हें अपनी बातों से मुकर जाने की भी आदत थी।


ଏହି ବିଷୟବସ୍ତୁକୁ ମୂଲ୍ୟାଙ୍କନ କରନ୍ତୁ
ଲଗ୍ ଇନ୍

Similar hindi poem from Inspirational