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bhawana Barthwal

Inspirational

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bhawana Barthwal

Inspirational

बीज

बीज

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कुछ गमलों मे मैने बीज बोये 

दस रोज के बाद उसमे कुछ नन्हे हरे पत्ते निकल आये 

ऐसा ही होता है जब हम अपने आशाओं को पंख देते हैं तो।

हर रोज मैं कुछ बूंदे पानी डाल आती

ऐसा लगता मानो वो नन्हा पौधा मुस्कुरा रहा हो।

कुछ महीने के बाद वो और अपनी तरुणाई पे था।

ऐसे ही साल होने को है

अब लगता है मानो कह रहा हो कुछ और जगह दो।

या किसी बागीचे या पार्क में जगह दो 

ताकी आते जाते हर किसी को छांव दूं

पर मेरा मन नही करता अपने नन्हे से पौधे को अकेला छोड दूं।

बिल्कुल वैसे जैसे अपने बच्चे को नही छोडो सकती। 

आज दो साल बीत चुके हैं

मुझसे बडा उस पौधे का कद

उम्र अब भी छोटी है उसकी।

पर अब लगता है

स्वछंद छोड़कर अच्छा रहेगा शायद।

  

 



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